सोये हुए लोकतंत्र में कब जागेगा हिन्दू...???
नई दिल्ली। विहिप कार्यकारी अध्यक्ष डा प्रावीण भाई तोगडिया को जम्मू हवाई अड्डे पर रोके जाने पर नाराज बजरंग दल व विश्व हिन्दू परिषद ने जम्मू कश्मीर सरकार के तुगलकी फरमान को हिन्दुओं की आबाज को दबाने वाला बताया है। विहिप के अनुसार संसद पर हमला करने वाले आतंकी अफजल की फांसी पर घडियाली आंसू बहाने तथा हाफिज सईद के साथियों को बचाने में लगी राज्य सरकार से और उम्मीद ही क्या की जा सकती है...???
http://www.navhindustan.com/index.php?mod=article&cat=%E0%A4%B8%E0%A4%AE%E0%A5%8D%E0%A4%AA%E0%A4%BE%E0%A4%A6%E0%A4%95%E0%A5%80%E0%A4%AF&article=2175
नई दिल्ली। विहिप कार्यकारी अध्यक्ष डा प्रावीण भाई तोगडिया को जम्मू हवाई अड्डे पर रोके जाने पर नाराज बजरंग दल व विश्व हिन्दू परिषद ने जम्मू कश्मीर सरकार के तुगलकी फरमान को हिन्दुओं की आबाज को दबाने वाला बताया है। विहिप के अनुसार संसद पर हमला करने वाले आतंकी अफजल की फांसी पर घडियाली आंसू बहाने तथा हाफिज सईद के साथियों को बचाने में लगी राज्य सरकार से और उम्मीद ही क्या की जा सकती है...???
आज देश
की परिस्थिति ऐसी हो गई है की देश में मुस्लिम खुले आम आतंकियों का समर्थन करते है और राष्ट्रवादीयो का विरोध। क्या लोकतंत्र का ये
ही अर्थ रह गया है जहाँ देश
का अपमान हो? हाल के दिनों में इस्लाम का पाप कुछ ज्यादा ही भारत की संसद के सर पर चढ़ कर बोलने
लगा है। क्या राष्ट्रवाद, आतंकवाद से ज्यादा
महत्वपूर्ण है? राष्ट्र का इससे बड़ा अपमान ही क्या हो
सकता जहाँ राष्ट्रगान किसी धर्म का विरोधी हो, योग इश्वर विरोधी हो और नेता जनता विरोधी।
इस्लाम को वन्देमातरम से परहेज है, सूर्यनमस्कार से परहेज है, भारत
से परहेज है फिर इस्लाम को भारत में क्यों रहने का अधिकार है? जब देशद्रोही और आतंकी
(अफजल गुरु के समर्थन में हिंसा हो फिर कैसे मुस्लिम समाज राष्ट्रवादी
हो सकता है? क्या
देश की सरकार को दिखाई नहीं देता है? शायद वोट बैंक की राजनीती का महत्व ज्यादा
है।
कांग्रेस के गुलाम देश में बहुल आबादी हिन्दुओ की है, बाबजूद इसके हिन्दू अपने
अराध्य भगवन श्री राम जी का न तो मंदिर बना पाए और ना ही गो हत्या बंद करा पाये। अब
सरकार रामसेतु को तोड़ कर अपनी करोडो हिन्दुओ की धार्मिक और सांस्कृतिक आस्था के साथ
खिलवाड़ कर रही है।
भगवान
श्री राम, संघ – बजरंगदल या विहिप के ही अराध्य थे क्या? या फिर
धर्मनिरपेक्षता के नाम पर हिन्दुओ के अराध्य के असित्व की रक्षा केवल
व्यक्ति विशेष के हाथो में है? बाकि हिन्दू को केवल इस्लाम और मुहम्मद की
ही चिंता है, ऐसा लगता है क्योंकि सरकार के बाशिंदे भी हिन्दुओं के नाम पर
धब्बा दिखाई देते हैं।
अब
जब पानी सर से ऊपर आ गया है तब भी यदि हिन्दू समाज एक नहीं हुआ और अपना
दोगलापन ख़तम नहीं किया तो वो दिन दूर नहीं जब भारत में हिन्दू माइनर हो
जायेंगे और मस्जिदों और गिरजाघरों में जाकर अपनी आँखों से आंसू छलकायेंगे।
जागो हिन्दुओं जागो - जागो और जगाओ।
राकेश कुमार पांडेय - विश्व हिन्दू परिषद - दिल्ली
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